Republic टीवी के Editor in Chief अर्नब गोस्वामी को खुदकुशी के लिए उकसाने के मामले में अलीबाग कोर्ट ने 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेजा ।
Arnab bail Rejected 14 दिन की हिरासत में Arnab Goswami जमानत देने से किया गया इंकार
अर्नब गोस्वामी के साथ खुदकुशी के मामले में दो अन्य आरोपी का भी नाम आया है जिसके दौरान वे 18 नवंबर तक हिरासत में रहेंगे। खुदकुशी का मामला 2018 के मई महीने की है

गोस्वामी और दो अन्य लोगों फिरोज शेख और नीतीश शारदा को आरोपियों की कंपनी द्वारा बकाया भुगतान न करने के आरोप में architect interior designer अनवर नाइक और उनकी मां की आत्महत्या के मामले में अलीबाग पुलिस ने 4 नवंबर को गिरफ्तार किया था।
2018 के मई महीने में दर्ज कराई गई रिपोर्ट
पीड़ितों ने 2018 के मई महीने में इसकी रिपोर्ट दर्ज कराई थी लेकिन उस समय इस मामले को दबा दिया गया था । फिर पीड़ितों ने अर्नव गोस्वामी और दो आरोपियों के खिलाफ सरकार बदलने के बाद न्याय की मांग की ।

कोर्ट ने गोस्वामी का वह आरोप भी खारिज कर दिया जिसमें वह कह रहे थे कि पुलिस ने उनके साथ जोर जबरदस्ती की है। अर्नव पूरे दिन कई बार आरोप दोहराते रहे थे ।
कोर्ट के अंदर फोन का उपयोग करते दिखे अर्नब गोस्वामी
Arnab Goswami को अदालत ने कोर्ट के अंदर फोन का उपयोग करने और कार्यवाही का लाइव प्रसारण करने पर फटकार लगाई। पुलिस के अनुरोध पर भी अदालत ने कहा कि हिरासत में लेकर पूछताछ करने की जरूरत नहीं है ।
गोस्वामी को हिरासत में भेजने के बाद उनके वकील आबाद पोंडा और गौरव पार ने जमानत के लिए याचिका दाखिल की है । उनके वकील आबाद पुणे ने बताया कि कोर्ट ने पुलिस से अपना जवाब दाखिल करने को कहा है और मामले की अगली सुनवाई गुरुवार को लिस्ट की गई है।
महिला पुलिस कर्मचारी के साथ कथित तौर पर मारपीट करने केआरोप में दर्ज की गई FIR

आत्महत्या के लिए उकसाने के मामले में बुधवार की सुबह गिरफ्तार अर्नब गोस्वामी के खिलाफ बाद में महिला पुलिस कर्मचारी के साथ कथित तौर पर मारपीट करने का आरोप में एक और FIR दर्ज की गई है। गोस्वामी ने दावा किया कि पुलिस ने उनके घर पर उनके साथ बदसलूकी की है ।
वरिष्ठ पत्रकार को जिस मामले में गिरफ्तार किया गया है दरअसल वह साल 2018 का है। साल 2018 के मई महीने में इंटीरियर डिजाइनर अन्वय और उनकी मां कुमुद नायक ने अलीबाग के अपने घर में खुदकुशी की थी।
मरने के पहले अन्वय ने सुसाइड नोट छोड़ा था जिसमें उन्होंने अपनी मौत के लिए 3 लोगों को जिम्मेदार ठहराया था उनमें से एक नाम अर्नव गोस्वामी का भी था ।
सरकार बदलने पर पीड़ित परिवार ने एक बार फिर उठाया मुद्दा
सरकार बदलने के बाद पीड़ित परिवार ने एक बार फिर से मुद्दा उठाया और न्याय की गुहार लगाई। मई महीने में गृह मंत्री अनिल देशमुख ने जांच CID को सौंप दी । नितेश शारदा जिस पर खुदकुशी नोट में 5500000 रुपए बाकी होने का आरोप लगाया और दूसरा फिरोज से 4 करोड रुपए बाकी होने का आरोप लगाया है। दूसरा फिर उसे जिस पर ₹4 करोड़ बाकी होने का आरोप लगाया है ।
रविवार को महाराष्ट्र के रायगढ़ जिले में अर्नब गोस्वामी हुए स्थानांतरित

गोस्वामी को तब तक एक स्थानीय स्कूल में रखा गया था जिसे अलीबाग जेल के लिए कोविड-19 केंद्र के रूप में नामित किया गया था। उन्हें रविवार को महाराष्ट्र के रायगढ़ जिले में तलोजा जेल में स्थानांतरित कर दिया गया। पुलिस के अनुसार गोस्वामी को न्यायिक हिरासत में रहने के दौरान कथित रूप से एक मोबाइल फोन का उपयोग करने के बाद तलोजा जेल ले जाया गया था ।
समाचार एजेंसी पीटीआई ने सोशल मीडिया पर अर्नब गोस्वामी के सक्रिय होने की दी खबर

समाचार एजेंसी पीटीआई ने कहा कि रायगढ़ की अपराध शाखा ने पाया कि गोस्वामी किसी के मोबाइल फोन का उपयोग कर सोशल मीडिया पर सक्रिय थे । गोस्वामीने इससे पहले शनिवार को मुंबई हाईकोर्ट के समक्ष अंतरिम जमानत याचिका दायर की थी, जिसने इन्हें सत्र अदालत में आवेदन दायर करने का विकल्प दिया था।
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